शासकीय कोमलदेव चिकित्सालय की व्यवस्था सुधारने कोई पहल नहीं, जिला प्रशासन सभी बातों को जानकर भी बना मूकदर्शक ,आम जनता की समस्या से नहीं है कोई सरोकार
कांकेर.... शासकीय कोमलदेव चिकित्सालय कांकेर में व्याप्त अव्यवस्था एवं अधिकारियों तथा कर्मचारियों की मनमर्जी पर सुध लेने वाला कोई नहीं है बावजूद इसके जिला प्रशासन को जिला मुख्यालय में स्थित शा.चिकित्सालय एवं मेडिकल कॉलेज में व्याप्त अवस्था एवं डॉक्टर एवं स्टाफ की मनमर्जी के खबरों की सारी जानकारी है इसके बावजूद वर्तमान समय तक उक्त मामले में किसी भी प्रकार का कोई संज्ञान ना लेना प्रशासनिक व्यवस्था पर सवालिया निशान खड़े कर रहा है जब जिला मुख्यालय स्थित चिकित्सालय का यह हाल है तो अंदाजा लगाया जा सकता है कि सुदूर ग्रामीण वनांचल क्षेत्र में इलाज की सुविधा कितनी दुरुस्त होगी एक ओर केंद्र एवं छत्तीसगढ़ शासन मोबाइल एंबुलेंस के माध्यम से सुदूरवर्ती क्षेत्र तक स्वास्थ्य व्यवस्था को पहुंचाने के लिए विभिन्न प्रकार की योजनाओं का क्रियान्वन कर रही है ताकि हर ग्रामीण क्षेत्रों तक मुफ्त एवं बेहतर चिकित्सा सुविधा मुहैया कराई जा सके इसके लिए अनेक कदम उठाए जा रहे हैं परंतु इसके विपरीत जिला मुख्यालय के शा. कोमलदेव चिकित्सालय में लोगों को डॉक्टर एवं स्टाफ की मनमर्जी के कारण अव्यवस्था एवं इलाज तथा जांच के लिए मशक्कत करनी पड़ रही है समय पर इलाज की सुविधा नहीं मिल पा रही है उक्त मामले को लेकर डॉक्टर एवं स्टाफ से उनका मत जाना गया जिसके लिए वह एक दूसरे पर जिम्मेदारी का ठीकरा फोड़ते नजर आए ... संवेदनशील पदों पर बैठे हुए अधिकारी अपने जिम्मेदारियां को लेकर कितने गंभीर हैं इसका अंदाजा लगाया जा सकता है आम जनता को होने वाली परेशानी से नहीं जिला प्रशासन और ना ही अस्पताल के स्टाफ को कोई सरोकार नहीं है बावजूद इसके जिला प्रशासन को अस्पताल की व्यवस्था को दुरुस्त कर सुगम तरीके से चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराने पर कार्य करने की आवश्यकता है ताकि शीघ्र ही यहां पहुंचने वाले लोगों को मुफ्त इलाज एवं जांच की बेहतर सुविधा मिल सके तथा अनावश्यक परेशानी से बच सके