गिरौदपुरी धाम में राष्ट्रीय सतनामी समाज संगोष्ठी संपन्न
📅 दिनांक – 28 जुलाई 2025
📍 स्थान – सतनाम धर्मशाला, मंड़वा (गिरौदपुरी धाम)
गिरौदपुरी (विशेष प्रतिनिधि)।
सतनाम पंथ के अनुयायियों को एकजुट करने और समाज के सामाजिक, शैक्षणिक एवं सांस्कृतिक विकास पर विचार-विमर्श हेतु दिनांक 28 जुलाई 2025 को राष्ट्रीय सतनामी समाज संगोष्ठी का भव्य आयोजन गिरौदपुरी धाम स्थित सतनाम धर्मशाला मंड़वा में सफलता पूर्वक संपन्न हुआ।
इस गरिमामयी आयोजन में देश के सात राज्यों – उत्तर प्रदेश, बिहार, राजस्थान, महाराष्ट्र, मध्यप्रदेश, असम एवं ओडिशा से समाज के प्रमुख पदाधिकारी, प्रतिनिधि एवं विशिष्टजन शामिल हुए। छत्तीसगढ़ के विभिन्न जिलों से भी हजारों समाजजन इस ऐतिहासिक आयोजन का हिस्सा बने।
कार्यक्रम की शुरुआत बाबा गुरू घासीदास जी के दर्शन और पूजन से हुई। श्रद्धालुओं ने जैतखाम का दर्शन कर सामाजिक एकता एवं सद्भाव की कामना की। छत्तीसगढ़ शासन के अनुसूचित जाति विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष गुरु खुशवंत साहेब विशेष रूप से पूजा-अर्चना में सम्मिलित हुए।
प्रगतिशील छत्तीसगढ़ सतनामी समाज के शपथग्रहण एवं प्रतिभावान विद्यार्थियों के सम्मान समारोह के अंतर्गत, समाज के अनेक पदाधिकारियों को सम्मानित किया गया। उपस्थित प्रमुखों में एस.आर. बांधे, डॉ. दिनेश लाल जांगड़े, मोहन बंजारे, श्याम टांडे, सुशीला जोशी, प्रदीप श्रृंगी, अंजलि बरमाल, एवं कई अन्य वरिष्ठजन शामिल थे।
रात्रिकालीन संगोष्ठी में वक्ताओं ने सतनामी समाज के समक्ष मौजूद सामाजिक चुनौतियों, शिक्षा के क्षेत्र में आवश्यक सुधार, संगठनात्मक सशक्तता और युवाओं की भूमिका पर विचार रखे।
बाबा गुरु घासीदास जी की जन्मभूमि गिरौदपुरी को रेलवे नेटवर्क से जोड़ने की मांग को सभी ने एक स्वर में दोहराया।
इस संगोष्ठी में एस.आर. बॉंधे (रायपुर), एच.आर. पाटले (मुंबई), ज्योति लाल बंजारे (ओडिशा), सुरेश कुमार बंजारे (ओडिशा), डॉ. स्वामी राम बंजारे (कांकेर), बी.आर. खड़बंधे (रायगढ़), सी.पी. भरतद्वाज (भोपाल) सहित अनेक वरिष्ठ समाजसेवी उपस्थित रहे।
संगोष्ठी के प्रमुख बिंदु:
🔹 राष्ट्रीय स्तर पर सतनामी समाज की एकता पर बल
🔹 समाज के युवाओं को शिक्षा व नेतृत्व में आगे लाने पर चर्चा
🔹 सतनाम धर्म की वैचारिक पहचान और विस्तार पर मंथन
🔹 गिरौदपुरी धाम को रेल नेटवर्क से जोड़ने की मांग
यह संगोष्ठी सतनामी समाज को एक नई दिशा और ऊर्जा प्रदान करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण पहल मानी जा रही है।





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